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जिंदगी में हो रहे हैं हादसे ही हादसे।

By Dr C M Gupta Atal


जिंदगी में हो रहे हैं हादसे ही हादसे।

हम मुसीबत में पड़े हैं घुड़चढ़ी के बाद से.1


वो गईं हैं मायके तब साँस ली है चैन की.

चार दिन हम भी फिरेंगे हर तरफ आज़ाद से.2





हमने वरमाला से पाया यारो फाँसी का मज़ा.

डर नहीं लगता है हमको इसलिए जल्लाद से.3


हम पड़े हैं नींव में तो वो कँगूरे बन गए

आ रही हैं ये सदायें दोस्तों बुनियाद से। 4


बाद मरने की चिता को आग दे दे वक्त पर.

बस यही उम्मीद रखना आजकल औलाद से.5


By Dr C M Gupta Atal




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