शांतिपूर्ण फैसले
- Hashtag Kalakar
- Jan 4
- 2 min read
Updated: Jul 7
By Anamika
वो मुस्कुराते चेहरे गर्वित थे। उनकी औलाद एक सफलता साबित हुई। उनकी ज़िंदगीभर की मेहनत ने समाज में इज्जत कमाई है। किसी के पास कोई कारण नहीं कि उस परिवार के बारे में कुछ गलत कह सके। उन दोनों का सुझाया फैसला सही तो होना ही था, उम्र और तजुर्बा था उनके पास।
अब बारी थी ज़िंदगी के दूसरे बड़े फैसले की। यकीनन ये भी शानदार रहेगा। एक क्षेत्र में हासिल सफलता बाकी क्षेत्रों में भी सफलता की ही उम्मीद देती है। पर इस बार औलाद ज़रा हिचकिचा रही थी उन दोनों के सुझाव को फैसले में बदलने से। क्यूंकि उस पहली उपलब्धि के लिए जिस चीज का त्याग किया था, वो सीने में अब भी याद बनकर सजी थी। आखिर किसी चीज का ज़िंदगी में ना होना ये निश्चित नहीं करता कि समय उसे मन से भी मिटा देगा। अब दूसरे फैसले के समय वो सीने में दबी याद आँसू बनकर फूट पड़ी। पर आँसुओं की ज़िंदगी बहुत छोटी होती है, उन पर ढेरों उम्मीदों का बोझ होता है। समाज में बरसों से पीढ़ियों की कमाई इज्जत एक याद के दम पर खत्म नहीं की जा सकती। तो ये फैसला भी ले लिया गया। वो दो मुस्कुराते चेहरे गर्वित थे।
हालांकि एक और चोट से सीने में सिर्फ याद नहीं, अब घाव बन चुका था। और ये घाव एक समय के बाद जब बीमारी बनने लगेगा, तब औलाद को तीसरा फैसला लेना होगा। जिस फैसले के लिए कोई सुझाव नहीं देगा। वो फैसला भी शांति से लिया जाएगा, और उसके सीने को हमेशा के लिए शांत कर देगा।
पर फिलहाल समाज के पास कोई कारण नहीं था कि उसके परिवार के बारे में कुछ गलत कह सके।
By Anamika

Comments