पतझर में टूटी पत्तियाँ
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पतझर में टूटी पत्तियाँ

Updated: Sep 20, 2022

By Vaarunee Mishra

पतझर में टूटी पत्तियाँ,

लौटादो वो खुशियाँ I

साथ चलो संग-संग,

महका दो अंग-अंग II


साथ चलो मेरे 'पत्तों ',

सूखे हो, लोग जला देंगे I

पलभर भी न सोचकर,

तुम्हे राख बना देंगे II





चाँदनी की शीतलता दूंगी,

ख्याल करुँगी मैं तुम्हारा I

चकोर चाँद को देखे,

मैं देखूंगी तुम्हे दोबारा II


पतझर हर बार आएगा,

सूखे पत्ते लाएगा I

'पत्तों ' चलो साथ मेरे,

यह जग, फिर तुम्हे जलाएगा II


पतझर में टूटी पत्तियाँ,

लौटादो वो खुशियाँ II


By Vaarunee Mishra




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