रावन सौ सौ बार जले
- hashtagkalakar
- Dec 24, 2023
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By Ganesh Patel
कोख कोख में दहन सुता
फिर सीता कैसे पाओगे
राम की शक्ति कोन बनेगी
रवां को कैसे जलाओगे \१\
राम तभी तो राम हुए
जब सीता शक्ति रूप लिया
अन्यायी अत्याचारी रावन से
लंका में युद्ध आगाज किया \२\
मुक्त किया नारी शक्ति को
रावन के माया जालों से
बंधी पड़ी थी अलसाइ सी
मति भ्रमित थी सदियों से \३\
कोन कहा सुख भोग सका
व्यवचारी शासन सत्ता से
रावन के पापो अत्याचारों का
ऋश्री खून भरा था कलशों में \४\
निरंकुश की मर्जी चलती है
शासन की बात कहा होती
स्व कामना स्व युद्ध पिपाशा
केवल इसकी ही चलती है \५\
अन्दर का अब राम जगे
रावन कितनी बार बने
दश सिरों का मोल एक से
देवासुर संग्राम बने \६\
राम जहाँ होगा हर बालक
सीता हर कन्या रूप धरे
कामी आतुर विध्वंशक
रावन सौ सौ बार जले \७\
By Ganesh Patel